शनिवार अथवा भानुवारदंदु ई मुंदॆ तिळिसुव क्रमदंतॆ भजनॆयन्नु विस्तारवागि माडबेकु. भजना क्रमदल्लि हेळिरुवंतॆ भजनॆयन्नु माडुवुदक्कॆ ऒंदुवरॆ घंटॆकाल बेकु. अनिवार्य कारणगळिंद समयद अभाव इद्दल्लि भजनॆयन्नु कैबिडदॆ ‘गुरुवारद भजना पद्धतियंतॆ’ भजनॆयन्नु माडबेकु.
(1) दीपज्वलनम् (2) श्री गुरुवंदनम् (3) श्री गुरो पाहिमां - (4) भजनॆय महिमॆ - (5) घोषवाक्यगळु - (6) प्रार्थना श्लोकगळु, मुंबरुव देवतॆगळिगॆ सांग कीर्तनॆ (7) गणेश, (8) शारदांबा, (9) जगद्गुरु शंकर भगवत्पादरु, (10) दत्तात्रेय, (11) शृंगेरि जगद्गुरुगळु, (12) सुब्रमण्य, (13) शिव, (14) गौरि, (15) राम, (16) कृष्ण, (17) वरमहालक्ष्मी, (18) हरिहर, (19) वॆंकटेश, (20) नरसिंह, (21) विठ्ठल, (22) अय्यप्प, (23) आंजनेय, नंतर (24) जगद्गुरु चरितॆ, (25) श्रीशंकराचार्य अष्टोत्तर अर्चनॆ मत्तु नैवेद्य (26) आरति हाडु - (27) तत्त्वपदगळु - (28) मंगळ श्लोकगळु - (29) शारदे पाहि मां